BEST INTRADAY TRADING STRATEGY KONSI HAIN ? IN HINDI 2022

शेयर मार्केट में बेस्ट INTRADAY TRADING STRATEGY कोनसी हैं? ये प्रश्न जिन लोगो ने नया- नया DEMAT ACCOUNT ओपन किया हैं उनके सामने आता हैं। उनको शेयर मार्केट में कैसे काम करते हैं इसका का सही ज्ञान नहीं होता तो उनके सामने ट्रेडिंग करने से पहले सबसे बड़ा सवाल आता हैं की शेयर मार्केट में बेस्ट इंट्राडे स्ट्रैटरजी कोनसी हैं? आज हम इसी बात को समझेंगे किस-किस प्रकार की ट्रेडिंग योजनाओं से हम इंट्राडे में ट्रेडिंग करके कम जोखिम के साथ अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं।

करने से पहले सबसे बड़ा सवाल आता हैं की शेयर मार्केट में बेस्ट इंट्राडे स्ट्रैटरजी कोनसी हैं? आज हम इसी बात को समझेंगे किस-किस प्रकार की ट्रेडिंग योजनाओं से हम इंट्राडे में ट्रेडिंग करके कम जोखिम के साथ अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं।

INTRADAY TRADING STRATEGY

INTRADAY TRADING क्या होता हैं और कैसे करे?

शेयर मार्केट में कैसे डीमेट अकाउंट ओपन करके पैसे कमाए जाते हैं ये समझने के लिए हमे स्टॉक मार्केट में कितने प्रकार से ट्रेडिंग की जाती हैं ये जानना होगा। शेयर मार्केट में ट्रेडिंग प्रमुख तीन प्रकार से होती हैं।

  1. INTRADAY TRADING
  2. SHORT TERM TRADING
  3. LONG TERM TRADING

यहां पर हम INTRADAY ट्रेडिंग क्या होता हैं और कैसे करे ? इस के बारे में समझेंगे। इंट्राडे ट्रेडिंग मतलब एक दिन के ट्रेडिंग सेशन में ही अपनी बनाई हुई पोजिशन को प्रॉफिट हो या लॉस के साथ SQUARE OFF करना ये होता हैं। सुबह जब मार्केट 9.15 बजे ओपन हो जाता हैं उसके बाद जब भी हम ट्रेडर्स कोई ट्रेड लेते हैं तो उस ट्रेड को हमे दोपहर 3.15 के अंदर-अंदर SQUARE OFF करना बंधनकारक होता हैं और अगर हम उस पोजिशन को इतने समय के अंदर एक्जिट नही करते तो ब्रोकर का सिस्टम हमारी उस पोजिशन को AUTO SQUARE OFF कर देता हैं ये नियम इंट्राडे ट्रेडर्स को लागू होता हैं।और इस प्रकारसे ट्रेडिंग करने के तरीके को INTRADAY ट्रेडिंग कहते हैं।

अक्सर देखा जाता हैं की शेयर मार्केट में आने वाले नए लोगों को INTRADAY ट्रेडिंग बहुत ही आसान लगती हैं। और वो बिना कुछ नॉलेज के ट्रेडिंग करके अपने सारे पैसे मार्केट में गवा देते हैं। अगर आप मार्केट में नए हो और आपको शेयर मार्केट का बिल्कुल भी नोलेज नही हैं तो शेयर मार्केट में कैसे इन्वेस्टमेंट करके पैसे कमाते हैं इस बात को अच्छे से जानकर आज से ही इन्वेस्टमेंट चालू करे। इंट्राडे ट्रेडिंग बहुत ही जोखिम भरा होता हैं आपको यहां ट्रेडिंग की सही तकनिक और जानकारी नहीं हैं तो आपका कैपिटल यह आसानी से खतम हो जायेगा। लेकिन आप कुछ योजनाएं और जानकारी के साथ ट्रेडिंग करोगे तो INTRADAY TRADING में भी आसानी से शानदार प्रॉफिट हो सकते हैं।

इंट्राडे ट्रेडिंग के बारे में यहां पर हम कुछ ऐसी स्ट्रेटजी समझेंगे की जिसका उपयोग ट्रेडर्स अगर बताए गए नियमों के अनुसार करते हैं तो वो सब मार्केट से डेली पैसे कमा सकते हैं।

INTRADAY TRADING STRATEGY के प्रकार

  • MOMENTUM TRADING STRATEGY :- इंट्राडे ट्रेडिंग करते समय सबसे महत्त्वपूर्ण बात ये ही की आपने जिस स्टॉक को ट्रेडिंग के लिए चुना हैं वो स्टॉक VOLATILE होना बहुत ही आवश्यक होता हैं। क्यू की इंट्राडे ट्रेडिंग में समय की पाबंदी होती हैं। इसका मतलब ये की आपने चुनें हुए स्टॉक का प्राइस एक दिन के ट्रेडिंग सेशन में अच्छे तरह से कम जादा होना जरूरी होता हैं। तो ऐसी स्थिती में आपने निर्धारित किया हुआ TARGET कम समय में ही पूरा हो जाए और आपको अधिक समय तक उस पोजीशन में टिके रहेने की जरूरत न पड़े। इसलिए इंट्राडे में ट्रेड करने के लिए अच्छे VOLATILE STOCK चुनना बेहद जरूरी होता हैं। उसी के साथ-साथ  आपने बनाई हुईं हर एक पोजिशन में आपका टारगेट और स्टॉप लॉस छोटा ही होना चाहीए। TARGRT और STOP LOSS कैसे लगाएं इसका प्रमाण आपके कैपिटल पर निर्धारित होता हैं। इस प्रकार से HIGH VOLATILITY वाले STOCK में आप पोजिशन बनाकर एक सही प्रोफिट और लॉस के प्रमाण को सुनिश्चित करके इंट्राडे में अच्छा मुनाफा कमा सकते हो।
  • BREAKOUT TRADING STRATEGY :- जब इंट्राडे ट्रेड करना हो तो ब्रेकआउट क्या होता हैं ये समझना जरूरी होगा। लेकिन नए ट्रेडर और जिन्हे टेक्निकल चार्ट की कोई जानकारी नहीं हैं उनके लिए ब्रेकआउट कैसे पता करे ये समस्या आ सकती हैं। तो अब हम पहले ब्रेकआउट क्या होता हैं ये समझेंगे। टेक्निकल चार्ट पर ब्रेकआउट पॉइंट पता करने के लिए आपको टेक्निकल चार्ट पर एक तो मैन्युअली लेवल निकलने होगे या फिर PIVOT POINT’S इंडिकेटर का उपयोग करना होगा। मैनुअली लेवल निकलने का सबसे आसान तरीका ये हैं की टेक्निकल चार्ट पर 5/10/15 मिनिट के टाइम फ्रेम सेट करके आपको चार्ट पर कैंडल स्टिक के कुछ दो से अधिक ऐसे पॉइंट्स को जोड़कर एक Horizontal Line Draw करनी हैं..और फिर वो स्टॉक उस लेवल के उपर की साईड ब्रेकआऊट दे तो BUY के लिए और नीचे की साईड में कैंडल ब्रेकडाउन देता हैं तो SELL के लिए एक छोटा स्टॉप लॉस लगाकर अपनी पोजीशन बना सकते हो। ..और अगर आप PIVOT POINTS इंडिकेटर का उपयोग करते हो तो आपको बना बनाया लेवल मिल जाता हैं। उस स्थिति में उपर की लेवल को रेसिस्टेंस और नीचे की लेवल को सपोर्ट कहते हैं। अगर टेक्निकल चार्ट में उपर की लेवल ( रेसिस्टेंस ) के उपर कैंडल बनकर SUATAIN करती हैं तो आपको उससे अगली कैंडल पर एक छोटा स्टॉप लॉस लगाकर छोटे टारगेट के लिए अपनी BUY पोजीशन बनानी हैं। और अगर मार्केट PIVOT के नीचे SUSTAIN करे तो ऐसी स्थिति में आपको छोटा स्टॉप लॉस लगाकर SELL पोजिशन लेनी होगी।इससे आपकी मार्केट से लॉस होने की संभावना बहुत ही कम होती हैं और प्रॉफिट होने की संभावना बढ़ती हैं। सिर्फ आपको प्रॉफिट और स्टॉप लॉस का प्रमाण आपके मूल कैपिटल के अनुसार रखना महत्वपूर्ण होता हैं। इन नियमों के साथ ट्रेडिंग होगी तो प्रॉफिट जरूर होगा।
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EMA 20 BREAKOUT
  • MOVING AVERAGE STRATEGY :- MOVING AVERAGE एक अधिक बहुचर्चित इंडीकेटर हैं। इस स्ट्रेटजी के साथ इंट्राडे ट्रेडिंग आसान और सुलभ हो जाती हैं। सब के लिए समझने में ये स्ट्रेटजी बहुत ही आसान हैं। यहां पर आपको कुछ जादा नियम लगाने नही होते आपको टेक्निकल चार्ट पर सिर्फ और सिर्फ एक ही इंडिकेटर लगाना पड़ता हैं। आपको टेक्निकल चार्ट पर सिर्फ 20 या 50 का EMA ( EXPONENTIAL MOVING AVERAGE ) सेट करना होगा। 20 का EMA 50 के EMA से स्टॉपलॉस और टारगेट बड़ा देगा। पर मेरा ये मानना हैं की 20 का EMA छोटे ट्रेडर्स के लिए हमेशा फायदेमंद रहता हैं। क्यू की छोटे ट्रेडर्स का कैपिटल लिमिटेड होता हैं। तो 20 के EMA के साथ ट्रेडिंग होगी तो स्टॉप लॉस और टारगेट दोनो छोटे-छोटे मिलेंगे और आपका मार्केट से जादा नुकसान होने की संभावना भी कम हो जाएगी। अगर आप इसे दूसरे इंडिकेटर के साथ कॉम्बिनेशन में उपयोग करना चाहते हो तो भी कर सकते हो। लेकिन आपको यहां भी प्रॉफिट लॉस के प्रमाण को सुनिश्चित करके ही ट्रेड करना होगा। तो ही आपकी यहां से प्रॉफिट होने की संभावना बढ़ती है।
  • CROSS OVER TRADING STRATEGY :- शेयर मार्केट में ये सबसे पसंदीदा ट्रेडिंग स्ट्रेटजी में से एक  मानी जाती हैं। क्यू की इसे टेक्निकल चार्ट पर हर कोई आसानी से लगाकर उस हिसाब से ट्रेड कर सकता हैं। इसकी AQURECY भी बहुत अधिक सही निकल के आती हैं। आपको इसमें टेक्निकल चार्ट पर सिर्फ एक की जगह दो अलग अलग EMA ( EXPONENTIAL MOVING AVERAG ) सेट करने होगे। जैसे की आपको एक 20 और दूसरा 50 का EMA चार्ट पे सेट करना होगा। जब भी 20 का EMA 50 के EMA को उपर की साईड को क्रॉस करता हैं उससे अगली कैंडल से आपको वहा कुछ पॉइंट्स का स्टॉप लॉस लगाकर ‘BUY‘ के लिए पोजिशन बनानी हैं। और यदि 20 का EMA 50 के EMA को नीचे की साईड क्रॉस करता हैं तो उससे अगली कैंडल से आपको कुछ पॉइंट्स का स्टॉप लॉस लगाकर ‘SELL‘ के लिए पोजिशन बनानी हैं। ध्यान रहे यहां भी आपको प्रॉफिट लॉस के प्रमाण को सुनिश्चित करके ही ट्रेड करना हैं।इसे चार्ट पर सिर्फ 5 से 10 मिनिट के टाइम फ्रेम के साथ ही उपयोय करेंगे तो आपको मार्केट से नुकसान कम और मुनाफा अधिक होने की संभावना बढ़ती हैं।
See also  STOP LOSS KYA HAIN AUR STOP LOSS KAISE LAGAYE ?IN HINDI 2022
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EMA 20 & EMA 50 CROSS OVER
  • SCALPING TRADING STRATEGY :- इस प्रकार की स्ट्रैटर्जी में इंडिकेटर से अधिक आपका धैर्य कितना हैं इस पर आपका प्रॉफिट और लॉस निर्धारित होता हैं। इस लिए जो ऑटोमेटिक ट्रेडिंग ( ALGO TRADING ) के सेटअप होते हैं वहा पर इस स्ट्रैटजी का उपयोग करके बहुत बड़े बड़े प्रॉफिट कमाए जाते हैं। जब ट्रेडिंग AUTOMATICALY हो जाती हैं तो उसमे भावनाएं नही होती और यहां सिर्फ स्ट्रेटजी+ मैथमेटिक्स काम करता हैं। सबसे पहले आपको इस स्ट्रेटजी में HIGH VOLATILITY वाले स्टॉक ही ट्रेंडिंग के लिए चुनने हैं। और सिर्फ 20 का EMA टेक्निकल चार्ट पे सेट करना होता हैं। यहां पर आपको टारगेट और स्टॉप लॉस बहुत ही छोटे छोटे रखने होते हैं। लेकिन यहां आपके ट्रेड जादा मात्रा में होते हैं इसमें कोई भी ट्रेड 1 से 3 मिनिट के अंदर अंदर ही खतम हो जाता हैं। लेकिन अधिक Quantity और अधिक मात्रा में ट्रेड होने के कारण यदि आपकी AQYURECY 60-70% भी निकल के आती हैं तो भी आपका बड़ा प्रॉफिट हो जाता हैं। आप इसे दूसरे इंडिकेटर के साथ कॉम्बिनेशन में उपयोग करना चाहते हो तो भी कर सकते हो। लेकिन आपको चार्ट पर टाइम फ्रेम 1 से 3 मिनिंट के अंदर ही सेट करना होगा। SCALPING का उपयोग विशेष रूप से निफ्टी और बैंकनिफ्टी ऑप्शन में अधिक होता हैं। यहां पर इमोशन को कोई स्थान नहीं होता ALGO ट्रेडिंग में इसके उपयोग से हमेशा प्रॉफिट ही होता हैं।
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  • REVERSAL TRADING STRATEGY : रिवर्सल ट्रेडिंग स्ट्रैटजी का मतलब उसके नाम से ही हमे पता चलता हैं। इस स्ट्रेटजी का उपयोग करने के लिए हमे टेक्निकल चार्ट सिर्फ एक ही इंडिकेटर की जरूरत होती हैं। आपको टेक्निकल चार्ट में सिर्फ 20 या 50 के SMA ( SIMPLE MOVING AVERAGE ) को  सेट करना होता हैं। ये भी ट्रेडिंग के लिए एक आसान और सुलभ योजना मानी जाती हैं। लेकिन इसमें आपको चार्ट पर नजरें बनाए रखनी होती हैं। क्यू की जब भी मार्केट में कोई ट्रेंड आता हैं। चाहे वो अप साइड हो या डाउन साइड हो मार्केट सीधा सीधा उपर या नीचे की और जाता नही हैं ये मार्केट का नियम हैं क्यू की यहां BUYER और SELLER में एक दबाव बन चुका होता हैं इस लिए स्टॉक प्राइस बीच बीच में रिवर्स होती रहती हैं लेकिन वो एक विशिष्ट सपोर्ट या रेसिस्टेंस बनाती रहती हैं। तो ऐसे में आपको सिर्फ ट्रेंड के अनुसार ही उस स्टॉक की प्राइस को रिवर्स होने का इंतजार करना होता हैं। मान लीजिए स्टॉक प्राइस जब उपर की साईड जा रहा हैं तो वो बीच बीच में  रिवर्स होके एक सपोर्ट लेता हैं और फिर उपर की साईड जाता हैं। तो आपको उस सपोर्ट से कुछ पॉइंट्स का अंतर छोड़ कर ‘BUY‘ पोजिशन बनानी होती है। और ऐसे ही स्टॉक प्राइस जब नीचे की साईड जा रहा हैं तो वो बीच बीच में रिवर्स होके एक रेसिस्टेंस पे अटकता हैं और फिर नीचे की साइड जाता हैं तो आपको उस रेसिस्टेंस से कुछ पॉइंट्स का अंतर छोड़ कर ‘SELL’ पोजिशन बनानी होती है। इस प्रकार से छोटा स्टॉप लॉस लगाकर आप यहा से अच्छा मुनाफा कमा सकते हो।

इस तरह से सबसे असरदार साबित होने वाली कुछ स्ट्रैटजी का हमने यहां पर विस्तृत रूप में विश्लेषण किया हैं। फिर भी आपको अपनी सही सुझबुझ और समझदारी के साथ ही शेयर मार्केट में अपने पैसे को निवेश करके ट्रेडिंग करनी हैं। किसी की टिप्स पर अपने पैसे दाव पर लगाने से अच्छा हैं की खुद ट्रेडिंग की नॉलेज लेकर शेयर मार्केट से पैसे कमाए।


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INTRADAY TRADING  के क्या नियम हैं..?

INTRADAY TRADING करते समय आपको कुछ नियमों का पालन करना होगा जो की इंट्राडे के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण होते हैं।

  1. आपको इंट्राडे में काम शुरू करने से पहले कुछ अच्छे HIGH VOLATILITY वाले स्टॉक को अपने WATCHLIST में ADD करने होगे।
  2. आपको किस स्ट्रेटजी को ट्रेडिंग के लिए उपयोग करना हैं ये पहले आपको सुनिश्चित करना होगा।
  3. आपको किसी भी स्टॉक में ट्रेड पोजिशन लेने से पहले आपको उस ट्रेड में प्रॉफिट और लॉस का प्रमाण सुनिश्चित करना होगा।
  4. किसी भी ट्रेड पोजिशन में आप चाहे कितने भी शास्वत क्यू ना हो पर फिर भी आपको सक्ती के साथ स्टॉप लॉस लगाकर अपना टारगेट छोटा ही रखना हैं। जादा लालाच बिल्कुल भी न करे।
  5. और कभी आपका स्टॉप लॉस हिट हो जाए तो उसे रिकव्हर करने के लिए इस दिन ओवर ट्रेड न करे।
  6. अधीक जोखिम भरे लगने वाले ट्रेड से दूर रहे।
  7. हमेशा स्टॉप लॉस और टारगेट का प्रमाण 1:1,1:2 या 1:3 से अधिक ना रखे।
  8. किसी भी ट्रेड में जादा भरवासा भी हो तो भी अपना सारा कैपीटल ( पैसा ) एक ही ट्रेड में लगाकर बड़ी जोखिम ना ले।
  9. भावनाओं (EMOTION) के साथ ट्रेडिंग ना करे। ट्रेडिंग को व्यापार की तरह समझे।
  10. किसी के सलाह पर अपने पैसे को दाव पर ना लगाए ।शेयर मार्केट संदर्भ में खुद का नॉलेज बढ़ाते रहे और मार्केट से पैसे कमाए।

इस लेख से आपने क्या सीखा..?

इस लेख में हमने INTRADAY TRADING के लिए सबसे सही और सटीक स्ट्रैटजी का यहां पर विस्तृत रूप में विश्लेषण किया हैं। फिर भी आपको अपनी सही सुझबुझ और समझदारी के साथ ही शेयर मार्केट में अपने पैसे लगाकर ट्रेडिंग करनी हैं।

आपको HIGH VOLATILITY वाले स्टॉक ही ट्रेडिंग के लिए चुनने हैं। और शेयर मार्केट में STOP LOSS कैसे लगाएं और टारगेट का प्रमाण कैसे सुनिश्चित करे इन सभी बातों को इस लेख में हमने विस्तृत प्रकार से समझा हैं। इसी के साथ साथ हमे भावना विरहित ट्रेडिंग करके ओवर ट्रेड से भी बचना हैं। इस तरह यहां हमने इंट्राडे ट्रेडिंग किस प्रकार से करते हैं इसका विस्तार से विष्लेषण किया हैं। यदि आपको ये लेख अच्छा लगता हैं तो.. या हमे कोई सुझाव देना चाहते हो तो कृपया कॉमेंट्स में लिखिए।

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